उत्तर प्रदेश के बरेली जिले के मीरगंज तहसील के एसडीएम के पास श्मशान की भूमि पर कब्जे की शिकायत लेकर एक फरियादी पहुंचा था। इस फरियादी को उपजिलाधिकारी ने अपने कार्यालय में ही मुर्गा बना दिया था। मुर्गा बनाये जाने का ये वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया जिसके बाद उन्हें पद से हटाकर जिला मुख्यालय से संबद्ध कर दिया गया है। वीडियो में उपजिलाधिकारी अपने कार्यालय में एक व्यक्ति को कथित तौर पर मुर्गा बनने के लिए कहते हुए दिख रहे हैं और वह व्यक्ति वीडियो में मुर्गा बना हुआ दिख रहा है।
शिकायत पत्र में की गई ये मांग
गांव वाले एसडीएम के पास अपनी मांग को लेकर पहुंचे थे. शिकायत पत्र में लिखा है कि गांव में दोनों धर्म के लोग रहते हैं. गांव में कोई श्मशान घाट नहीं है. मुस्लिम समुदाय के कुछ लोगों ने श्मशान घाट की जमीन को कब्रिस्तान के नाम पर कब्जा कर लिया है. ऐसे में जिला प्रशासन श्मशान घाट के लिए जमीन की व्यवस्था करे. जमीन न होने की वजह से अंतिम संस्कार करने में परेशानी होती है.
एसडीएम ने कहा झूठे हैं आरोप
वहीं वायरल वीडियो को लेकर एसडीएम ने बताया, जब मैं अपने चेंबर में कोर्ट से लौटा तब मंडनपुर गांव के पांच-छह लोग आए थे. इसमें से एक आदमी आते ही मेरे सामने मुर्गा बन गया. मैंने उससे बोला कि मुर्गा क्यों बने हुए हो. जो बाकी लोग आए हुए थे उनको बोला कि इसको उठाइए. इतने में ही एक आदमी ने वीडियो बना लिया. जब तक मुझे कुछ पता चलता वो वीडियो बनाकर वहां से निकल गया. उसके बाद मैंने उनकी शिकायत सुनी और निस्तारण करने के लिए लेखपाल को भी बोला. ये जो आरोप लगाए जा रहे हैं कि मैंने उस आदमी को मुर्गा बनाया, वो गलत है.
पीड़ित ने लगाया ये आरोप
वहीं पीड़ित ग्रामीण पप्पू ने बताया, मैं श्मशान भूमि के बारे में पता करने वहां पहुंचा था. मैंने प्रमाण पत्र भी दिया था. एसडीएम साहब ने मुझे मुर्गा बना दिया. इस पर मैंने पूछा, मुर्गा क्यों बना रहे है तो अपशब्द कहने लगे. इस पर मैंने कहा कि मैं दो बार आपके पास आया हूं. मुझे न्याय नहीं मिला इसलिए तीसरी बार आया हूं. जब तक न्याय नहीं मिलेगा तब तक मुर्गा बनने से नहीं हटूंगा. तो कहने लगे कि तुम नाटक करते हो. कागजों में कब्रितान दर्ज है, श्मशान भूमि नहीं. कोई न्याय नहीं मिलेगा