Golden history was created for Kotamra village today, the boy became the sarpanch of the same school where he studied
सारंगढ़ /प्रदेश शासन के द्वारा सोमवार 16 जून को शाला प्रवेश उत्सव दिवस मनाया गया है जिसमे शाला में आने वाले बच्चों को तिलक वंदन कर उनका अभिनंदन किया गया जिसमें कोतमरा शा.पूर्व माध्यमिक
स्कूल शामिल रहा यहां के सरपंच शीतल वारे ने बच्चों को तिलक वंदन लगाकर उन्हें शुभकामनाएं दी देखा जाए तो कोतमरा गांव आज अपने स्वर्णिम इतिहास को रचा है जिसमें जिस स्कूल में पढ़ने वाले बालक ने कभी पढ़ लिखकर घर परिवार स्कूल का नाम रोशन करने का हौसला ले कर आगे बढ़ा था उसे वह पूरा करने में जुटा हुआ है बचपन से मेधावी रहने वाले गांव का सरपंच शीतल वारे ने सरपंच बन कर जन सेवा की मजबूत इरादों को ठान ली, सरपंच शीतल वारे ने कोतमरा स्कूल में पढ़ाई करने के बाद ,आगे की पढ़ाई को संचालन किया उसके उपरांत शीतल वारे ने राजनीतिक में पदाअर्पण करते हुए गांव की सेवा करने का मनसा बनाया जिसके तहत उन्होंने उनके काम को देखते हुए लोगों ने बेहद प्यार दिया जिसका परिणाम यह रहा कि वह गांव की जनप्रतिनिधि बने आज जिस स्कूल में पढ़े थे उसी स्कूल में प्रतिनिधि बन के कार्यक्रम में शामिल हुआ और पहले दिन आने वाले छात्र-छात्राओं का तिलक लगाकर अभिनंदन किया ,इस अवसर पर उनके द्वारा सुरक्षा भेट दी गई है इस गौरवंतित अवसर को देखते हुए स्कूल में पढ़ने वाले बच्चे शिक्षक गण शाला समिति के पदाधिकारी में हर्ष का महौल रहा इस अवसर में
सीतल वारे सरपंच तारकेश्वर कुमार टंडन प्रधानपाठक, अश्विनी कुमार देवांगन, दिनेश कुमार सिदार, मनीराम खाण्डे, श्रीमती पूनम मीना टोप्पो, श्रीमती अंजना देहरी
स्कूल समिति के अध्यक्ष नरेश कुमार वारे
पुष्पा बघेल उप सरपंच
