■ गुरूपुर्णिमा पर व्यासगद्यी प्रशिक्षको का हुआ गुरू के रूप में पूजन
■ गुरूपुर्णिमा से एतिहासिक रामलीला मंचन के लिए कलाकारो का अभ्यास हुआ आरंभ
■ रामलीला और नाटक मंचन का बना प्रारूप, बाल कलाकारो द्वारा होगा मनमोहक प्रस्तुति
सौरभ बरवाड़@भाटापाराः- भाटापारा की 105 वर्ष प्राचीन एवं एतिहासिक आदर्श रामलीला नाटक मंडली भाटापारा , शंकर वार्ड रामलीला मैदान कार्यालय में मनाया गया गुरूपुर्णिमा का पावन अवसर। भाटापारा की इस रामलीला में बच्चो को अपने धर्म से जोड़ने व हिन्दु रीतिरिवाज, संस्कृति एवं धार्मिक त्यौहारो की जानकारी देने के लिए लगातार आदर्श रामलीला नाटक मंडली भाटापारा समिति जो कि छत्तीसगढ़ स्तर पर पंजीकृत संस्था है उसके द्वारा आयोजन किया जाता है । उसी कड़ी में रामलीला कार्यालय मे गुरूपुर्णिमा के अवसर पर भगवान गणेश के आहृवान एवं जगत गुरू भगवान शंकर जी के पूजन के साथ, रामलीला के आधार रामायण एवं भगवान श्रीराम व हनुमान जी की पूजा की गई साथ ही सनातन धर्म जगत गुरू शंकराचार्य जी का पूजन किया गया । वही रामलीला प्रमुख व्यासगद्यी का पूजन करते हुए रामलीला व्यासगद्यी पर आसीन होने वाले एवं रामलीला के कलाकारो को प्रशिक्षण देने वाले प्रमुख व्यक्तिव को श्रीगुरू की उपाधी देते हुए रामलीला के कलाकारो के द्वारा उनका गुरू के रूप में पूजन किया गया जिसमे प्रमुख रूप से गुरू के रूप में आदर्श रामलीला नाटक मंडली के अध्यक्ष, संगीत एवं व्यास प्रमुख प्रकाशचंद शर्मा, कैलाशचंद शर्मा, धन्जी भाई जोशी, लाला देवनारायण शर्मा शामिल रहे, जिनको तिलक, आरती कर श्रीफल सौंपकर पूजन कर गुरूपूजन किया गया। इसी के साथ ऐतिहासिक रामलीला के ऐतिहासिक 105वें वर्ष का मंचन जो आगामी नवरात्र पर्व अक्टुबर माह मे प्रारंभ होना है उसके लिए अभ्यास एवं कलाकारो का रिहल्सल भी आरंभ हुआ। बता दें कि इस रामलीला में नन्हे कलाकार करते है शानदार प्रदर्शन एवं देवीलीला होती है भव्य जो पुरे छत्तीसगढ़ में प्रसिद्ध है। आगामी रामलीला मंचन की रूपरेखा तैयार की गई । इस अवसर पर रामलीला संचालन समिति के सभी सदस्य, वरिष्ठ एवं बाल कलाकार उपस्थित रहे।