Paris Olympics 2024: Ruckus over transgender player in Olympics… Accused of being a man, who is Iman Kheleef? Italian PM Georgia Meloni meets female boxer
Imane Khelif vs Angela Carini, Paris Olympics 2024: अल्जीरिया की ट्रांसजेडर बॉक्सर इमान खलीफा (Imane khelif) ने पेरिस ओलंपिक 2024 में अपने मुकाबले के बाद पूरी दुनिया में बहस छेड़ दी. खलीफा की प्रतिद्वंद्वी इटली की एंजेला कैरिनी ने गुरुवार (1 अगस्त) को 46 सेकंड बाद ही मुकाबला छोड़ दिया और कहा कि उनके जीवन में कभी भी इतना जोरदार मुक्के नहीं झेले. मैच के दौरान एंजेला का हेडगियर भी दो बार हट गया था. मुकाबले के बाद एंजेला रोने भी लगी थीं. बात यहीं खत्म नहीं हुई, मैच खत्म होने के बाद एंजेला ने खलीफा से हाथ तक नहीं मिलाया.
इमान खलीफा पिछले साल बॉक्सिंग वर्ल्ड चैम्पियनशिप में गोल्ड मेडल मैच तक पहुंची थीं, लेकिन मुकाबले से ठीक पहले उन्हें डिस्क्वालिफाई कर दिया था, क्योंकि जांच में दावा किया गया कि उनके टेस्टोस्टेरोन का स्तर बढ़ा हुआ था. मगर इस बार पेरिस ओलंपिक में जेंडर-इक्वालिटी का मामला है, इस कारण उनको एंट्री मिल गई. खलीफा दो बार की ओलंपियन हैं, पेरिस से पहले उन्होंने टोक्यो खेलों में भी भाग लिया था.
इमान खलीफा और एंजेला कैरिनी के बीच हुए के बाद सोशल मीडिया पर #IStandWithAngelaCarini ट्रेंड कर रहा है. इसी को सपोर्ट करते हुए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X के मालिक एलन मस्क ने भी पोस्ट शेयर की थी. सभी ने एंजेला कारिनी को सपोर्ट किया है. इटली की पीएम जॉर्जिया मेलोनी ने भी एंजेला कैरिनी का सपोर्ट किया है.
इटली की पीएम का पोस्ट वायरल
जॉर्जिया मेलोनी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा, ‘मुझे पता है कि तुम हार नहीं मानोगी, एंजेला. और मुझे पता है कि एक दिन तुम मेहनत और पसीना बहाकर वह कमाओगी जिसकी तुम हकदार हो. एक ऐसी प्रतियोगिता में जो अंततः बराबरी की है.’ मेलोनी के इस पोस्ट को 3.7 मिलियन से ज्यादा व्यूज मिल चुके हैं.
जॉर्जिया मेलोनी ने पेरिस में एंजेला कैरिनी से मुलाकाता भी की. यह मुलाकात तब हुई जब इतालवी प्रधानमंत्री ने उनका समर्थन किया और कहा कि खलीफा के खिलाफ मुकाबला बराबरी की लड़ाई नहीं है. मेलोनी ने कहा कि जिन एथलीटों में पुरुष आनुवंशिक विशेषताएं हैं, उन्हें महिला प्रतियोगिताओं में शामिल नहीं किया जाना चाहिए.
बॉक्सिंग के लिए बेचा कबाड़
पेरिस ओलंपिक में तमाम आरोपों से घिरकर विवादों में आईं इमान खेलीफ को 2024 में UNICEF का नेशनल एम्बेसेडर बनाया गया था. उनके लिए बॉक्सिंग का सफर संघर्षों से भरा रहा है. खेलीफ का जन्म 1999 में अल्जीरिया के तियरेत में हुआ. 25 साल की बॉक्सर को शुरुआती दौर में फुटबॉल खेलने का शौक था, लेकिन बाद में उन्होंने बॉक्सिंग को करियर बनाने का फैसला किया.
खेलीफ ने जब बॉक्सिंग की शुरुआत की थी, तब ट्रेनिंग के लिए उन्हें बस के जरिए दूसरे गांव में जाना पड़ता था. उस वक्त खेलीफ बहुत गरीब थीं और बस से यात्रा करने के लिए उनके पास पैसे नहीं होते थे. इसलिए वो कबाड़ बेचकर अपने लिए पैसे का इंतजाम करती थीं. इतना ही नहीं उनके पिता को लड़कियों का बॉक्सिंग करना बिल्कुल पसंद नहीं था. फिर भी खेलीफ ने हार नहीं मानी और सारी परेशानियों के बीच अपने खेल को जारी रखा.
करियर की खराब शुरुआत
इमान खेलीफ अपनी परेशानियों से लड़ते हुए बॉक्सिंग में आगे तो बढ़ रही थीं, लेकिन उनके करियर की शुरुआत अच्छी नहीं रही. 19 साल की उम्र में खेलीफ ने 2018 AIBA महिला वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में डेब्यू किया. इस टूर्नामेंट में उनका प्रदर्शन कुछ खास नहीं रहा और वो पहले राउंड में ही हारकर बाहर हो गईं. उन्होंने 17वें नंबर पर फिनिश किया था.
2019 के वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में उन्होंने फिर वापसी की और एक बार फिर वो पहले राउंड में हारकर बाहर हो गईं. इस बार खेलीफ का प्रदर्शन और भी बुरा रहा और वो उन्होंने 33वें नंबर पर रहकर टूर्नामेंट से बाहर हो गईं. उन्होंने 2020 के टोक्यो ओलंपिक के लिए भी क्वालिफाई किया था, लेकिन क्वार्टर फाइनल मुकाबले में उन्हें एक बार फिर हार का सामना करना पड़ा.
2022 में किया कमाल
खेलीफ ने करियर के शुरुआत में मिली हार के बावजूद हौसला नहीं खोया. वो अपने बॉक्सिंग स्किल्स पर काम करती रहीं. फिर आया साल 2022, जब उन्होंने कमाल करना शुरू किया. 2022 के वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में उन्होंने एक बार फिर हिस्सा लिया. इस बार वो फाइनल तक पहुंचने में कामयाब रहीं. ऐसा करने वाली वो अल्जीरिया की पहली महिला बॉक्सर थीं. हालांकि, फाइनल मुकाबले में वो हार गईं, लेकिन सिल्वर मेडल अपने नाम कर लिया. इस साल उन्होंने अरब गेम्स, मेडिटेरेनियन गेम्स और अफ्रीकन चैंपियनशिप भी गोल्ड अपने नाम किया था.
2023 से विवादों में, पुरुष होने का आरोप
साल 2023 में खेलीफ वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप जीतने के इरादे उतरीं थीं और फाइनल तक पहुंच भी गई थीं. हालांकि, गोल्ड मेडल मैच से पहले इंटरनेशनल बॉक्सिंग एसोसिएशन (IBA) ने उन्हें डिसक्वालिफाई कर दिया. IBA ने डिसक्वालिफाई करने के पीछे खेलीफ के शरीर में बहुत ज्यादा मात्रा में टेस्टोसटेरोन होने का हवाला दिया था. बाद में IBA के अध्यक्ष ने यह भी खुलासा किया था कि DNA टेस्ट के दौरान खेलीफ के शरीर में X,Y क्रोमोजोम्स पाए गए थे, जो पुरुषों में होते हैं. हालांकि, एसोसिएशन का टेस्ट भी विवादों में आ गया था. वहीं खेलीफ ने IBA के फैसले को एक बड़ी साजिश भी बताया था. अब पेरिस ओलंपिक में भी इसी आरोप के साथ वो एक बार फिर से विवादों में आ गई हैं.