Chhattisgarh’s stall is the center of special attraction in the International Trade Fair this time, the event will be held from 14 to 27 November
रायपुर / नई दिल्ली में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेले में छत्तीसगढ़ का स्टॉल इस बार विशेष आकर्षण का केंद्र है। यहां ढोकरा कला, कोसा सिल्क, बस्तर के बांस शिल्प और अन्य पारंपरिक शिल्पों की झलक देखने को मिलती है। इसके साथ ही, राज्य ने अपने औद्योगिक उत्पादों, विशेष आर्थिक क्षेत्रों और हर्बल उत्पादों को भी प्रमुखता से प्रदर्शित किया है। इस वर्ष की थीम “विकसित भारत @ 2047” को ध्यान में रखते हुए छत्तीसगढ़ ने अपने स्टॉल को तैयार किया है। राज्य ने हाल के वर्षों में अपने आदिवासी क्षेत्रों के विकास, रोजगार सृजन, और औद्योगिक निवेश में उल्लेखनीय प्रगति की है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में राज्य ने एक मजबूत औद्योगिक और सामाजिक आधार तैयार किया है, जिसने देश-विदेश के निवेशकों को आकर्षित किया है।
उल्लेखनीय है कि नई दिल्ली के प्रगति मैदान में 43वें भारत अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला 14 नवंबर से प्रारंभ हो गया है। इस वर्ष मेले की थीम “विकसित भारत @ 2047” है, जिसमें देश के सभी राज्यों व केन्द्रशासित प्रदेश अपनी प्रगति और उपलब्धियों को प्रदर्शित कर रहे हैं। छत्तीसगढ़ भवन की आवासीय आयुक्त श्रीमती श्रुति सिंह ने छत्तीसगढ़ के पवेलियन का उद्घाटन किया। इस मौके पर छत्तीसगढ़ से आए कलाकारों ने करमा नृत्य की प्रस्तुति दी। ‘विकसित छत्तीसगढ़@2047′ की अवधारणा पर छत्तीसगढ़ के ग्रामोद्योग, स्वयं सहायता समूह, हैंडलूम, हस्तशिल्प, हर्बल, कृषि विभाग आदि के स्टॉल लगाए गए हैं। 20 नवंबर को राज्य सांस्कृतिक दिवस मनाया जाएगा जहां लोक कलाकार प्रदेश की समृद्ध लोक कला और संस्कृति का प्रदर्शन करेंगे।