The family was devastated by the death of Tisha Kumar, sister Khushali expressed her pain and said- ‘I wanted to see you as a bride…
मुंबई. बॉलीवुड एक्टर और टी-सीरीज के को-ऑनर कृष्ण कुमार की 21 साल की बेटी तिशा कुमार का निधन हो गया. तिशा पिछले हफ्ते कैंसर से पीड़ित हो गईं और सोमवार को विले पार्ले में उनका अंतिम संस्कार किया गया. तिशा के निधन से उनकी फैमिली और दोस्तों के बीच शोक की लहर है. सिंगर तुलसी कुमार, एक्ट्रेस खुशाली कुमार और प्रोड्यूसर-एक्ट्रेस दिव्या खोसला कुमार ने तिशा के असामयिक मौत पर दुख जताया है. उन्होंने तिशा के साथ वाली तस्वीरें शेयर कीं और इमोशन करने वाला नोट भी लिखा है.
तुलसी कुमार और खुशहानी ने अपने इंस्टाग्राम पर तिशा संग तस्वीरें शेयर कर लिखा, ”हमारी प्यारी तिशा, यह जानकर मेरा दिल टूट गया कि तुम चली गईं। यह तुम्हारे जाने का समय नहीं था, हम तुम्हें बढ़ते, समृद्ध होते, सफलता हासिल करते और तुम्हे शादी की ड्रेस में देखना चाहते थे न कि ऐसे. बहुत जल्दी चली गई। भगवान तुम्हारी आत्मा को शांति दे छोटी बहन।”
इन नोट के साथ तुलसी ने तिशा की एक तस्वीर शेयर की, जिसमें उन्हें व्हाइट क्रॉप टॉप और पैंट में देखा जा सकता है.
एक्ट्रेस खुशाली कुमार ने भी इंस्टाग्राम पर तिशा की पुरानी तस्वीरें शेयर करते हुए अपना दुख व्यक्त किया. एक दिल को छू लेने वाली तस्वीर में खुशाली अपनी छोटी बहन को गोद में लिए हुए हैं. खुशाली ने लिखा, “हमारी प्रिसेंज तिशा, यह जानकर मेरा दिल टूट गया कि तुम चली गईं. हम तुम्हें बड़ा होते देखना चाहते थे. तुम्हें इस तरह नहीं देखना चाहते थे. बहुत जल्दी चली गईं. मेरी छोटी बहन, शांति से आराम करो.”
वहीं, एक्ट्रेस-प्रोड्यूसर दिव्या खोसला कुमार ने भी तिशा की मौत पर दुख जताते हुए उसके साथ वेकेशन की कई तस्वीरें पोस्ट कीं और लिखा, “तिशा, तुम इतनी जल्दी चली गई, तुम हमेशा हमारे दिलों में रहोगी। तान्या भगवान तुम्हें सबसे दर्दनाक क्षति से उबरने की शक्ति दे।”
बता दें, कृष्ण कुमार की बेटी अभी महज 20 साल की थीं और काफी समय से कैंसर से जंग लड़ रही थीं। लेकिन वह इस गंभीर बीमारी से जीत न सकीं और 18 जुलाई को जर्मनी में दम तोड़ दिया। 22 जुलाई को तिशा का मुंबई में अंतिम संस्कार किया गया, जहां उन्हें आखिरी विदाई देने बॉलीवुड के कई सितारे पहुंचे थे।
इसके साथ ही बहन खुशाली ने भी छोटी बहन के लिए भावुक पोस्ट लिखी है। वो लिखती हैं कि उनको खोना किसी यातना से कम नहीं है। खासकर उन लोगों के लिए जो लोग पीछे रह गए हैं। खुशाली आगे लिखती हैं कि वो कहते है ना कि समय घाव भर देते है लेकिन नहीं भरता। बस टूट हुए दिल पर पट्टी बांधता है। समय के साथ ये आसान नहीं होता है बस दर्द के साथ जीना सीखना होता है।