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3 बार सांसद, लगातार दूसरी बार स्पीकर… ध्वनिमत से लोकसभा स्पीकर चुने गए ओम बिरला, मोदी सरकार के लिए भी किसी सरप्राइज से कम नहीं

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3 times MP, Speaker for the second time in a row… Om Birla elected Lok Sabha Speaker by voice vote, is no less than a surprise for the Modi government

ओम बिरला दूसरी बार लोकसभा स्पीकर (OM Birla Loksabha Speaker) चुने गए हैं. बिरला को ध्वनिमत से 18वीं लोकसभा का नया स्पीकर चुना गया. जिसके बाद पीएम मोदी और नेता विपक्ष राहुल गांधी उन्हें आसन तक लेकर पहुंचे. ध्वनिमत पर विपक्ष ने डिविजन की मांग नहीं की. ओम बिरला के नाम पर विपक्ष का विरोध न करना मोदी सरकार के लिए भी किसी सरप्राइज से कम नहीं रहा. उम्मीद यही की जा रही थी कि विपक्ष वोटिंग की मांग करेगा और फिर पूरी प्रक्रिया के तहत मतदान होगा. लेकिन अचानक ट्विस्ट तब आया जब ध्वनिमत से बिरला को अध्यक्ष चुने जाने पर विपक्ष ने वोटिंग की मांग ही नहीं रखी और इसे मान लिया.

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ओम बिरला के लोकसभा स्पीकर चुने जाने के बाद 18वीं लोकसभा के अपने पहले संबोधन में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘ये सदन का सौभाग्य है कि आप दूसरी बार लोकसभा अध्यक्ष के पद पर विराजमान हुए हैं। आपको और इस पूरे सदन को मेरी तरफ से बहुत-बहुत बधाई। इस पूरे सदन की तरफ से भी आपको अनेक-अनेक शुभकामनाएं। अमृतकाल के इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम में दूसरी बार इस पद पर विराजमान होने से आपको बहुत बड़ा दायित्व मिल रहा है। आपके अनुभव और हमारे अनुभव से हमें विश्वास है कि आप हम सभी का मार्गदर्शन करेंगे। मुझे विश्वास है आप हर कदम पर नए कीर्तिमान गढ़ते रहेंगे।’

स्पीकर का दूसरी बार जीतना मुश्किल होता है’
प्रधानमंत्री ने कहा ’18वीं लोकसभा में स्पीकर का कार्यभार दूसरी बार संभालना अपने आप में रिकॉर्ड है। बलराम जाखड़ जी पहले ऐसे अध्यक्ष थे, जो लगातार दो बार अपना कार्यकाल पूरा कर पाए थे। उनके बाद अब आपको यह मौका मिल रहा है। ज्यादातर स्पीकर या तो चुनाव नहीं लड़े हैं या जीतकर नहीं आए हैं। आप समझ सकते हैं कि स्पीकर का काम कितना मुश्किल है कि उनका जीतना मुश्किल हो जाता है। आपने दोबारा जीतकर नया इतिहास गढ़ा है। इस सदन के ज्यादातर सासंद आपसे परिचित हैं और पिछली बार मैंने आपके संबंध में काफी कुछ बातें रखीं थी। आज उन्हें दोहराऊंगा नहीं लेकिन आप जिस तरह से सांसद के रूप में काम करते हैं, वह जानने योग्य और सीखने योग्य हैं। युवा सांसद भी आपसे प्रेरणा लेंगे। आपने अपने क्षेत्र में जिस तरह से स्वस्थ मां और स्वस्थ शिशु अभियान चलाया, वह वाकई प्रेरक है। आप लगातार अपने संसदीय क्षेत्र में लोगों की सेवा करते रहते हैं। खेलों में युवाओं को प्रोत्साहन देना भी आपने प्राथमिकता से किया है।’

ध्वनिमत से लोकसभा स्पीकर चुने गए ओम बिरला
दरअसल, 48 साल बाद पहली बार स्पीकर के पद के लिए चुनाव हुआ। एनडीए की ओर से ओम बिरला उम्मीदवार थे तो वहीं, दूसरी ओर I.N.D.I.A ब्लॉक की ओर से के सुरेश प्रत्याशी थे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ओम बिरला के नाम का प्रस्ताव रखा उसके बाद बारी बारी से NDA के दूसरे नेताओं ने प्रस्ताव रखा और अनुमोदन किया। इसके बाद विपक्ष की ओर से के सुरेश के नाम का प्रस्ताव रखा गया। फिर प्रोटेम स्पीकर ने ध्वनिमत से प्रस्ताव को पास कर दिया क्योंकि विपक्ष की ओर से वोटिंग या डिविजन की मांग नहीं की गई थी।

जानें, ओम बिरला के बारे में-

राजस्थान से पहले स्पीकर- ओम बिरला राजस्थान की कोटा संसदीय सीट से सांसद हैं। वह लोकसभा स्पीकर के आसन तक पहुंचने वाले राजस्थान के पहले सांसद हैं। ओम बिरला अब लगातार दूसरी बार स्पीकर निर्वाचित होने के साथ ही अयंगार और जीएमसी बालयोगी जैसे सांसदों के विशिष्ट क्लब में शामिल हो गए हैं जिन्हें लगातार दो बार स्पीकर चुना गया।

तीन बार विधायक बने- 2003 में उन्होंने कोटा से पहला विधानसभा चुनाव लड़ा और जीते। इसके बाद 2008 में उन्होंने कोटा दक्षिण सीट से कांग्रेस के शांति धारीवाल को हराकर विधानसभा चुनाव जीता। तीसरा विधानसभा चुनाव भी उन्होंने कोटा दक्षिण से 2013 में जीता था।

2014 में पहली बार लड़ा लोकसभा चुनाव- 2014 के लोकसभा चुनाव में भाजपा ने ओम बिरला कोटा संसदीय सीट से प्रत्याशी बनाया। चुनाव जीतने के बाद उन्होंने विधानसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया। 2019 में बिरला फिर से सांसद चुने गए और इस बार भाजपा ने उन्हें स्पीकर बना दिया। 2024 लोकसभा चुनाव में जीत दर्ज करने के बाद अब बिरला एक बार फिर से लोकसभा अध्यक्ष बन गए हैं।

संसदीय समितियों के रहे हैं सदस्य- 1992 से 1995 तक वह राष्ट्रीय सहकारी संघ लिमिटेड के उपाध्यक्ष रहे। बतौर सांसद 2014 से 2019 के अपने पहले कार्यकाल के दौरान ओम बिरला कई संसदीय समितियों में भी रहे। वह राजस्थान सरकार में संसदीय सचिव भी रहे हैं और इस दौरान उन्होंने लीक से हटकर कई कार्य किए।

प्रधानमंत्री ने कहा कि पिछले 5 वर्षों में, आपकी अध्यक्षता में, संसद ने कई ऐतिहासिक निर्णय लिए हैं। जब भी 17वीं लोकसभा का उल्लेख होगा, सदन के मार्गदर्शक के रूप में आपका नाम याद किया जाएगा। विभिन्न विधेयकों के माध्यम से17वीं लोकसभा ने महिलाओं को विधानसभाओं में आरक्षण दिया, जम्मू-कश्मीर से धारा 370 को खत्म किया, नए आपराधिक कानून बनाए, ट्रांसजेंडर व्यक्तियों के अधिकारों की रक्षा की और सामाजिक और राष्ट्रीय कल्याण के लिए कई अन्य मील के पत्थर हासिल किए। यह आने वाली पीढ़ियों के लिए आपकी विरासत के रूप में याद किया जाएगा।

प्रधानमंत्री ने कहा कि हमारा ये संसद 140 करोड़ देशवासियों की आशा का केंद्र है। संसद की कार्यवाही, जवाबदेही और आचरण हमारे देशवासियों के मन में लोकतंत्र के प्रति निष्ठा को और अधिक मजबूत बनाते हैं।

राहुल बोले- विपक्ष को बोलने का मौका देकर संविधान रक्षा का दायित्व निभाएं

लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने नवनिर्वाचित अध्यक्ष ओम बिरला को बधाई दी. उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि वह विपक्ष को बोलने का मौका देकर संविधान रक्षा का अपना दायित्व निभाएंगे. कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा, ”मैं आपके दूसरी बार अध्यक्ष चुने जाने पर आपको बधाई देना चाहता हूं. मैं पूरे विपक्ष की ओर से, ‘इंडिया’ गठबंधन की ओर से आपको बधाई देना चाहता हूं. राहुल गांधी ने कहा, ”अध्यक्ष महोदय, यह सदन भारत के लोगों की आवाज का प्रतिनिधित्व करता है और आप उस आवाज के संरक्षक हैं. निस्संदेह, सरकार के पास सत्ता की शक्ति है लेकिन विपक्ष भी भारत के लोगों की आवाज का प्रतिनिधित्व करता है.”

राहुल ने कहा, विपक्ष सदन चलाने में पूरा सहयोग करेगा, लेकिन यह भी जरूरी है कि विपक्ष को सदन के अंदर लोगों की आवाज उठाने का मौका मिले. आशा है कि आप हमें अपनी आवाज उठाने, भारत के लोगों की आवाज उठाने का मौका मिलेगा. राहुल गांधी ने कहा, इस चुनाव ने दिखाया है कि लोग उम्मीद करते हैं कि विपक्ष संविधान की रक्षा करेगा.

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